#Dipka #Education

अराजकता के दौर में अपने सुरक्षा की जिम्मेदारी स्वयं लेनी होगी – डॉ. संजय गुप्ता

0 खेलों से मानव में अनुशासन आता है। साथ ही शारीरिक और मानसिक दोनों का विकास होता है, मस्तिष्क स्वस्थ रहने से पढ़ाई में भी मन लगता है। सही फैसले लेने की क्षमता बढ़ती है- डॉ. संजय गुप्ता
दीपका (न्यूज़ वाला )। आज के इस चमक-धमक से भरी दुनियाँ में हमारे सामने जो सबसे बड़ी चुनौती है वो है सुरक्षा की । सुरक्षा अपने धन की, अपने परिवार की समाज की और स्वयं की । आज जब भी बच्चा घर से बाहर जाता है तो जब तक वो सही सलामत घर को वापस नहीं आता माता-पिता के चिंता सताते रहती है । ऐसे में यदि संतान पुत्री हो तो चिंता और चार गुना बढ़ जाती है ।  अपने आवश्यकताओं की पूर्ति हेतु घर से बाहर निकलना हमारी जरूरत है और सुरक्षित घर वापस पहुँचे इसकी हमारे अभिभावकों को चिंता है ।
ऐसे में आज हर माता-पिता चाहते हैं कि उनके बच्चे ऐसे गुणों को सीख लें जिसमें कि समय पड़ने पर वे अपनी सुरक्षा स्वयं कर सके । यही कारण है कि आज विशेषकर मार्शल आर्ट की कक्षाओं की ओर बच्चों और अभिभावकों का रूझान बढ़ रहा है ।
दीपका स्थित इंडस पब्लिक स्कूल में जहाँ 1 मई से 15 मई तक समर कैम्प का आयोजन किया जा रहा है जिसमें बच्चों को तरह-तरह के गुण सिखायें जा रहे हैं । समर कैंप में  मार्शल आर्ट ,ताइक्वांडो सेल्फडिफेंस की कला भी बच्चों को सिखाई जा रही है ।  विशिष्ट प्रशिक्षक श्री लीलाराम यादव एवं सुश्री स्नेहा साहू के द्वारा बच्चों को सेल्फडिफेंस के अनेक तरीके सिखाए जा रहे हैं ।
सेल्फ डिफेंस की इस क्लास में लड़को से अधिक लड़कियों की भागीदारी है । बच्चों को समर कैम्प में मार्शल आर्ट का प्रशिक्षण दे रही स्नेहा साहू का कहना है कि आज के समय में लड़कियों को अपनी आत्मरक्षा के मिलए सेल्फडिफेंस की कला सीखना बेहद जरूरी है । मार्शल आर्ट हमें शारीरिक, मानसिक रूप से सुदृढ़ बनता है । हमारे आत्मविश्वास को बढ़ाता है साथ ही हमें फिट रखना है ।
लीलाराम यादव सर ने कहा कि आज के परिवेश में आत्मरक्षा के गुण एवं कलाओं में सब को पारंगत होना चाहिए।आज हम इस क्षेत्र में भी अपना करियर बना सकते हैं।तथा अपने सपनों को साकार कर सकते हैं।आत्मरक्षा का प्रशिक्षण लड़के एवं लड़कियों दोनो  के लिए आवश्यक है।हमें यह भी नहीं भूलना चाहिए कि हम अपने आप तथा जरूरतमंदों की सुरक्षा के लिए ये कला सीखते हैं न कि किसी की जान लेने के लिए।इस कला से हममें आत्म विश्वास निर्णय लेने की क्षमता एवं नेतृत्व की भावना का विकाश होता है।
विद्यालय प्राचार्य डॉ. संजय गुप्ता ने कहा कि अधिकांश बच्चे समर कैम्प में मार्शल आर्ट सीख रहे हैं जिसे देखकर यह समझा जा सकता है कि आज बच्चे एवं उनके अभिभावक सुरक्षा के प्रति कितने जागरूक है । हर सेल्फ डिफेंस लड़कियों को सीखना अनिवार्य है । अराजकता के इस दौर में अपनी सुरक्षा की जिम्मेदारी हमें स्वयं लेनी होगी ।
आज के समय की यह मांग है।इससे हम तन और मन दोनों ही रूप से मजबूत बनते हैं।हममें एक नई ऊर्जा,उत्साह व आत्मबल का संचार होता है।आज के दौर में युवाओं में सेल्फ डिफेंस का अच्छा खासा  क्रेज देखने को मिलता है।हम सेल्फ डिफेंस के क्षेत्र में भी अपना भविष्य बना सकते हैं।

Leave a comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *